Thursday, December 22, 2016
Wednesday, September 14, 2016
Sunday, August 28, 2016
कुच्छ वो बातें मेरी कलम से ...
समय के अनुसार सब बदलता हे
आप की चाह भी और आप की राह भी I #JayJagannath
Thursday, March 24, 2016
कुच्छ वो बातें मेरी कलम से ...
नाहीं भांग था
और नाहीं रंग
फिर भी थी जसन
वो यारों के संग
झूम लिया मिलके सबने आज
जैसे लौट आयी हो वो बचपन की उमंग
Happy Holi !!!
Mahaprasad
Tuesday, January 26, 2016
अँधेरा कभी कभी अच्छा लगता हे ...
अँधेरा कभी कभी अच्छा लगता हे
ये अपने आपको ढूंढने मे मदद करता हे
अँधेरे मे बैठे हुए लौट जाता हूँ कुछ वो पुराने खयालो मे
जिसे भूलाना नामुमकिन हे
दोबारा वो पल जीने का अरमान तो हे
मगर पता हे, ये अँधेरे से निकल ने के बाद ये नामुमकिन जैसा हे
इसीलिए कभी कभी अँधेरा अच्छा लगता हे I
महाप्रसाद मिश्र
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